हरिद्वार में सिडकुल स्थित दवा उत्पादन कम्पनियों में लगातार एक सप्ताह से जारी छापेमारी में नारकोटिक्स विभाग (एनसीबी) व पुलिस ने छापेमारी में भारी तादाद में नशीली दवाओं, जिनमे नशीले सिरप (लगभग 3 लाख सीसी) कई लाख गोलियाँ व नशीले इंजेक्शन पकड़ कर सील किये हैं।
दो ट्रक नशीले सिरप गोलियां व इंजेक्शन को एनसीबी अपने साथ ले भी गई हैं । गौरतलब है कि इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने अपनी पूर्व में की गई छापेमारी में इस प्रकरण की सूचना नारकोटिक विभाग को दी थी। चंडीगढ़ मे सात बड़े दवा आरोपीयों के फंसते ही हरिद्वार में भी एन.सी.बी. ने यह कार्यवाही की हैं । छापेमारी में रॉ मीटिरियल, विपणन और उत्पादन में जाँच शुरू की गई।
गौरतलब है कि वर्ष 2018 में नाईजीरिया में कोड़िन की लत इस कदर बढ गई थी कि कई मौतें हुई थी। नाईजिरिया ने खाँसी की कोडीन आधारित दवाओं पर प्रतिबंध लगा दिया था। इस मामले को भी हरिद्वार में उत्पादित दवाओं से जोड़कर देखा जा रहा है।
दवा कम्पनीयों को लाईसेंस से लेकर रॉ मेटेरियल देने, उत्पादन के बाद विक्रय तक का लेखाजोखा नारकोटिक विभाग के पास रहता है। उल्लेखनीय है कि बीते जनवरी में एक नामी फार्मा कम्पनी पर छापेमारी इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने चार दिन तक की थी तब यह ड्रग्स का मामला संज्ञान में आया और उसने कुंभकर्णी नींद में सोये नारकोरिक विभाग की कुंभकर्णी नींद खोली। इतने बड़े स्तर पर नशीले उत्पादन पर नारकोटिक विभाग की नींद कई संदेश को जन्म दे रही है। इस बड़े स्कैंडल पर गम्भीर जांच चल रही है
Reported By: Ramesh Khanna